रतनपुर मामले में एएसपी ने पेश की प्रकरण ख़ारिज करने की रिपोर्ट….प्रलोभन में असफल होने पर कराया गया था झूठा एफआईआर

बिलासपुर – 19 मई को प्रार्थीया निवासिनी रायपुर के द्वारा करैहापारा, रतनपुर की महिला के विरूध्द अपने दस वर्षीय पुत्र के साथ लैंगिक अपराध की लिखित शिकायत प्रस्तुत कर रतनपुर में अपराध पंजीबध्द कराया गया था। उक्त प्रकरण में संदेहियां को न्यायायिक रिमांड पर भेजा गया। संदेहिया के गिरफ्तारी के बाद उनकी पुत्री द्वारा अपनी मां को झूठे प्रकरण में फंसाये जाने के संबंध में लिखित आवेदन प्रस्तुत किया गया। उक्त आवेदन पत्र के परिपेक्ष्य में वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देश पर प्रकरण की विवेचना किये जाने पर यह तथ्य पाया गया कि थाना रतनपुर में अपराध क्रमांक 150/2023 धारा 376 भादवि0 के प्रकरण में समझौता करने हेतु प्रार्थीया तथा उसके परिजनों पर लगातार दबाव डाला गया तथा आर्थिक प्रलोभन भी दिया गया। समझौता के प्रयास में असफल होने पर प्रार्थीया तथा उसके परिजनो द्वारा प्रायोजित तरीके से पुलिस को ट्रैप करते हुए मिथ्या शिकायत पत्र प्रस्तुत कर उक्त प्रकरण पंजीबध्द कराया गया। जिसकी पुष्टि साक्षियो व घटनाक्रम के परीक्षण करने पर हुई है। एसपी संतोष सिंह द्वारा एएसपी राहुल देव शर्मा के नेतृत्व में गठित टीम को जांच में कई अन्य महत्वपूर्ण तथ्य मिले जिससे घटना का न होना पाया गया। इन बिन्दुओं के आधार पर पुलिस रिपोर्ट पर माननीय न्यायालय ने संदेहिया को जमानत दे दिया था।
प्रार्थीया द्वारा थाना रतनपुर में मिथ्या प्रकरण पंजीबध्द कराने के पूर्व थाना राखी जिला रायपुर में भी आरोपिया के विरूध्द उक्ताशय का लिखित आवेदन प्रस्तुत कर मिथ्या प्रथम सूचना पत्र दर्ज कराने का असफल प्रयास किया गया। प्रकरण के संपूर्ण विवेचना मे अपराध का घटित न होना पाया गया है जिस कारण से प्रकरण खारिजी क्रमांक 03/2023 दिनांक 09.06.2023 को चाक कर आज दिनांक 12.06.2023 को प्रकरण माननीय न्यायालय मे पेश किया गया। प्रकरण न्यायालय में होने से जांच के अन्य बिंदु शेयर नहीं किए जा रहे हैं। माननीय न्यायालय से खारिजी स्वीकृत होने पर आगे की वैधानिक कार्यवाही की जाएगी। इस दौरान आर्थिक प्रलोभन देने के मामले में एक एफआईआर दर्ज कर ली गई है।